एच एस रवींद्र
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सी.एस.आर क्रियाकलापों के लिए प्रमुख क्षेत्र
- स्वच्छता – घरेलू, विद्यालयीय एवं सामुदायिक
- दिव्यांग जनों के लिए सहायता प्रदान करना
- ग्राम गोद लेना
- पर्यावरण संबंधी क्रियाकलाप
- पेयजल आपूर्तिशौचालय का निर्माण
- शिक्षा
- जल संभरण विकास
- स्वास्थ्य देखभाल
- 2020 - 2021 Rs : 708.00 Lakhs
- 2021 - 2022 Rs : 549.00 Lakhs
- 2022 - 2023 Rs : 293.25 Lakhs
हेतु आबंटित बजट सी.एस.आर.



पुरस्कार
क्रियान्वयन साझेदार
- सुलभ अंतर्राष्ट्रीय समाज सेवा संगठन विकास
- बी.ए.आई.एफ. विकास अनुसंधान संस्थान
- भारतीय कृत्रिम अंग निर्माण निगम
- इंदिरा गाँधी बाल स्वास्थ्य संस्थान
- प्रगति-पथ पर महिलाएँ
- पारिस्थितिकी और पर्यावरण में अनुसंधान के लिए अशोक वृक्ष (अत्री)
- इसरो यूनिट
- जेल महा निरीक्षक
- केयर इंडिया
राष्ट्रीय विकास में योगदान
- स्वच्छ गंगा नदी कोष
- राष्ट्रीय खेल-कूद विकास कोष
- राष्ट्रीय सांप्रदायिक सद्भाव प्रतिष्ठान
- प्रधानमंत्री राष्ट्रीय राहत कोष
- सशस्त्र सेना झंडा दिवस कोष
- भारतीय नेत्रहीन संस्थान
स्वच्छ भारत अभियान
घरेलू शौचालय
ग्रामीण क्षेत्रों के सामान्य जन-जीवन में स्वच्छता, स्वास्थ्य और खुले में शौच से मुक्ति के लिए सुधार करना
- ब्रह्मसांद्रा गाँव, तुमकूरु ज़िला, कर्नाटक और
- मेलवा गाँव, जोधपुर ज़िला, राजस्थान
- साफ-सफाई, स्वास्थ्य और स्वच्छता सुविधाओं में सुधार करना
- खुले में शौच से बचने के लिए लोगों के व्यवहार और सांस्कृतिक परिपाटी में बदलाव लाना
- जहाँ कहीं भी घरेलू स्वच्छता संभव नहीं है वहाँ सामुदायिक शौचालय की व्यवस्था करना
- स्वास्थ्य की देखभाल और शौचालय के उपयोग के बारे में जागरुकता फैलाना
गाँव को खुले शौच से मुक्त करना (ओडीएफ)
मल निस्तारण संयंत्र
गंदे पानी के परिशोधन एवं घोर जल संकट वाले क्षेत्रों में दुबारा उपयोग के लिए तैयार करना |
- एसटीपी के द्वारा मलजल और उपयोग किए गए जल का परिशोधन
- जल संसाधन का संवर्द्धन
- विशेषकर, गर्मी के मौसम में जल का संरक्षण
- बीदर के भालकी में अनाथ बच्चों के लिए एक आवासीय विद्यालय की स्थापना की गई |
Combat acute water scarcity through recycling of waste water
विद्यार्थियों, विशेषकर ग्रामीण क्षेत्रों में स्थित सरकारी विद्यालयों की बालिकाओं के लिए
स्वच्छता की मूलभूत सुविधा प्रदान करना और साफ-सफाई, स्वास्थ्य तथा निजता के प्रति
जागरुकता पैदा करना |
- स्वच्छता और शौचालय के उपयोग के प्रति जागरुकता पैदा करना |
- खुले में शौच करने से रोकना और स्वच्छ वातावरण का निर्माण करना |
- विद्यालयों के बच्चों के मस्तिष्क में साफ-सफाई और स्वास्थ्य के प्रति विचार उत्पन्न करना |
- कोलार और चिकबल्लापुर ज़िला, कर्नाटक में इसे लागू किया गया |
विद्यालयों के बच्चों में साफ-सफाई और स्वास्थ्य को बढ़ावा देना
सामुदायिक शौचालय
अस्पताल, सार्वजनिक स्थलों में साफ-सफाई, स्वास्थ्य और खुले में शौच से
मुक्ति को बढ़ावा देना
- सामुदायिक शौचालय परिसर प्रदान करना |
- रोगियों के लिए सुविधा और मार्गरक्षी प्रदान करना |
- परिसर को साफ-सुथरा, स्वस्थ और गंदगी से मुक्त रखने के लिए प्रमुख
- सरकारी अस्पताल के प्राधिकारियों के साथ सहयोग करना |
- ज़िला अस्पतालों, पर्यटन-स्थलों और सार्वजनिक स्थानों में क्रियान्वयन |
विद्यालयों के बच्चों में साफ-सफाई और स्वास्थ्य को बढ़ावा देना
आदर्श ग्राम विकास
एन्ट्रिक्स ने सिरा ताल्लुक, तुमकूरु ज़िला, कर्नाटक के एक सूखाग्रस्त, पिछड़े गाँव, ब्रह्मसांद्रा को गोद लिया
बीएआइएफ - ग़ैर-सरकारी संगठन के माध्यम से आजीविका और प्राकृतिक संसाधन के विकास के लिए समेकित और साकल्यवादी पहल
संचालित क्रियाकलाप
- वृष्टि-जल संरक्षण
- घरेलू शौचालय
- कौशल विकास
- पशुधन के स्वास्थ्य की देखभाल और विकास
- टंकी का जीर्णोद्धार
- शिक्षा - आँगनवाड़ी, विद्यालय-भवन
- जल निकासी की व्यवस्था
- कृषि-वानिकी
- आय-सृजन क्रियाकलाप
- सौर ऊर्जा संचालित सड़क-प्रदीपन
- वानस्पतिक ख़ाद, जैव गैस
दीर्घकालिक विकास हेतु समेकित उद्देश्य
स्वास्थ्य देखभाल सहायता
एन्ट्रिक्स ने सी.एस.आर के अंतर्गत पाँवफिरे बच्चों के उपचार के लिए इंदिरा
गाँधी शिशु स्वास्थ्य एवं अंतर्राष्ट्रीय देखभाल संस्थान के साथ सहयोग किया
है|
पाँवफिरा एक जन्मजात विकलांगता है जिसके कारण पैर, टखना और अँगूठा
मुड़ जाता है | यदि इसका उपचार प्रारंभिक अवस्था में नहीं होता है तो इससे
आजीवन विकलांग रहने की नौबत आ जाती है |
- ग्रामीण क्षेत्रों में पाँवफिरे बच्चों की पहचान करने में सहायता करना |
- ऐसे बच्चों के उपचार के लिए सहायता प्रदान करना |
- इसका मूल उद्देश्य कर्नाटक से पाँवफिरा विकलांगता को निर्मूल करना है |
प्रभावित बच्चों के जीवन में सकारात्मक परिवर्तन लाना है
अलग-अलग एबल्ड पर्सन्स के लिए समर्थन
उपयुक्त संसाधनों और उपकरणों से दिव्यांगजनों के जीवन की गुणवत्ता में
सुधार लाने के लिए उन्हें सशक्त बनाना
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दिव्यांगजनों (शारीरिक रूप से विकलांग, नेत्रहीन और श्रवणहीन) के पुनर्वास हेतु
पहचान और सहायता | - भारतीय कृत्रिम अंग निर्माण निगम (एलिम्को) के माध्यम से क्रियान्वित |
-
हासन ज़िला, कर्नाटक और नेल्लोर ज़िला, आँध्र प्रदेश से लगभग 1400 से अधिक
दिव्यांगजन इससे लाभान्वित हुए हैं |
दिव्यांगजनों के पुनर्वास के लिए प्रयास
महिला सशक्तिकरण
प्रगति की ओर महिलाएँ और इसके व्यापारिक सहयोगी गोकूप के माध्यम से ग्रामीण
बुनकर महिलाओं के दो समूह, जैसे- कर्नाटक के बागलकोट और हुबली ज़िले, के लिए
दीर्घकालीन रोज़गार और आजीविका के अवसरों के उत्प्रेरक के रूप में यह कार्यक्रम है |
इस क्रियाकलाप से सामाजिक-आर्थिक स्थितियों में सुधार होगा और परिमेय प्रभाव के
साथ दीर्घकालीन और तुलनीय आजीविका के अवसरों के सृजन के द्वारा रोज़गार के
अवसरों का उत्प्रेरण होगा |
Contributions to the National Development
- उत्तराखण्ड एवं जम्मू और कश्मीर राज्यों के प्रभावित क्षेत्रों में आपदा राहत और
पुनर्वास उपायों के लिए कंपनी समर्थित सी.एस.आर के माध्यम से वित्तीय योगदान
के चलते विस्थापित परिवारों के लिए आवास के पुनर्निर्माण और अवसंरचनाओं के
पुनर्सृजन को सहायता मिली है | -
सांप्रदायिक सौहार्द्र के लिए किए गए वित्तीय योगदान से सांप्रदायिक उत्पातों के
कारण विस्थापित लोगों और पीड़ित परिवारों के लिए उनकी शिक्षा और पेशा के
के लिए अवसरों की खोज और इसप्रकार उनके पुनर्वास में सहायता | -
स्वच्छ भारत अभियान के अंतर्गत गंगा नदी स्वचछता कार्यक्रम और देश में खेल-
कूद के विकास के लिए खेल एवं युवा मामलों के मंत्रालय को वित्तीय योगदान |
सुजला जल संभरण विकास परियोजना
- वर्ष 2002-14 के दौरान, कर्नाटक राज्य के सात सूखा प्रभावित ज़िलों में सरकार द्वारा क्रियान्वित सुजला जल संभरण विकास परियोजना की सफलता में एन्ट्रिक्स की बड़ी भूमिका रही है | नव प्रयोग के तौर पर, एन्ट्रिक्स ने, परियोजना प्रबंधन के लिए अद्यतित, विश्वसनीय और सटीक सूचना प्रदान करने के लिए उपग्रह सुदूर संवेदी, भौगोलिक सूचना प्रणाली (जीआइएस), वैश्विक स्थानन प्रणाली (जीपीएस) एवं प्रबंधन सूचना प्रणाली (एमआइएस) जैसी प्रौद्योगिकी को लागू किया है |
- विश्व बैंक ने एन्ट्रिक्स द्वारा विकसित इस पद्धति को ‘ उत्कृष्टता के प्रारूप ’ के तौर पर पूर्णरूपेण अभिस्वीकृत किया है और परियोजना को ‘ सर्वोत्तम व्यवसाय पुरस्कार’ से सम्मानित किया है | एन्ट्रिक्स को इस अध्ययन के लिए प्रतिष्ठित अंतर्राष्ट्रीय और राष्ट्रीय पुरस्कार प्राप्त हुआ है |